“दूरबीन विधि से बचाई जा सकती है बच्चेदानी”
Dr.Renu Singh Gahlaut
MBBS,MS,FICOG
(Laparoscopic surgeon)
Gahlaut Health care
Kalyanpur.Kanpur Nagar
Wed, 04 Nov 2015
Hello Doctor(Dainik Jagran)
कानपुर, जागरण संवाददाता: सीमा की शादी को आठ वर्ष हो चुके हैं लेकिन वह आज तक मां नहीं बन सकीं। तमाम महिलाओं की कहानी सीमा जैसी ही है। जगह-जगह इलाज कराने के बाद भी कोई समाधान नहीं निकला। स्त्री रोग विशेषज्ञ डा. रेनू सिंह गहलौत का कहना है कि बच्चेदानी की गांठ या ट्यूब बंद होने जैसी तमाम बीमारियों में दूरबीन विधि बेहद कारगर है। इससे बच्चेदानी को बचाया जा सकता है और पीड़िता मां बन सकती हैं। बुधवार को हैलो डॉक्टर की मेहमान डा. गहलौत ने दर्जनों महिलाओं की शंकाओं का समाधान किया और उनमें मां बनने की उम्मीद भी जागृत हुई।
सवाल : गांठ के कारण 32 साल की उम्र में बच्चेदानी निकाल दी गई है। अब अत्यधिक गर्मी व घबराहट लगती है।
– रागिनी, नौबस्ता
जवाब : कम उम्र में बच्चेदानी निकालने से ओवरी तीन से चार वर्ष बाद कार्य करना कम कर देती है। आप के लक्षण प्री- मेच्योर ओवेरियन फ्लोयोर के हैं। हार्मोन थेरेपी के लिए स्त्री रोग विशेषज्ञ से परामर्श लें।
सवाल : बेटी की उम्र 19 वर्ष है। एंडोमेट्रीओमा अल्ट्रासाउंड से पता चला कि उसकी दोनों ओवरी में गांठ है। हर माह उसे दर्द से गुजरना पड़ता है। क्या वह भविष्य में मां बन पायेगी।
– आकांक्षा निगम, कल्याणपुर
जवाब : जरूर, दूरबीन विधि द्वारा सिर्फ गांठ हटाकर ओवरी के उतकों को बचाकर उसके गर्भ धारण की संभावना बनी रहेगी।
सवाल : दिल्ली में हिस्ट्रोस्कोपी जांच में बच्चेदानी में पर्दा (सेप्टम) बताया गया है। क्या इसका इलाज संभव है।
– स्वप्निल मिश्रा, आर्यनगर
जवाब : हिस्ट्रोस्कोपी रिशेक्सन विधि से बिना चीरे के सेप्टम सुरक्षित तरीके से हटाया जा सकता है।
सवाल : बच्चे नहीं है। तीन बार आईयूआई करा चुके हैं। इलाज बताइये।
– कशिश खान, फेथफुलगंज
जवाब : दूरबीन विधि द्वारा बच्चेदानी, ओवरी व नलियों की जांच अवश्य करायें। जाला, पर्दा व गांठ आदि की वजह से बच्चा आने में समस्या हो सकती है।
सवाल : मेरा वजन 75 किलो है। मासिक धर्म अनियमित है।
– अनुप्रीति, बर्रा
जवाब : पीसीओडी की वजह से हार्मोनल असंतुलित होने की संभावना लगती है। आपका वजन बहुत ज्यादा है। संतुलित खानपान व व्यायाम से फायदा मिलेगा।
सवाल : शादी के तीन साल बाद भी बच्चे नहीं हो रहे हैं। एक्सरे जांच में ट्यूब ब्लाक निकली।
– रेशम, पी रोड
जवाब : दूरबीन द्वारा ट्यूब की जांच करा लें। लेप्रोस्कोपी व हिस्ट्रोस्कोपिक विधि से जांच के बाद ट्यूब खोलने का आपरेशन भी संभव है। ट्यूब यदि दूरबीन विधि द्वारा नहीं खुलती है तो टेस्ट ट्यूब बेबी विधि द्वारा मां बन सकती हैं।
सवाल : जेठानी की दो साल तक माहवारी बंद थी। अचानक शुरू हो गयी। कोई दिक्कत की बात तो नहीं।
– शीतल, कल्याणपुर
जवाब : अल्ट्रासाउंड द्वारा बच्चेदानी, ओवरी, पैपस्मियर, काल्पोस्कोपी की जांच करनी होगी।
सवाल : सात माह का गर्भ है। डायबटीज बताई गई है। क्या करें।
– मंजीत कौर, कौशलपुरी
जवाब : यदि गर्भ के दौरान डायबटीज का पता चला है तो इंसुलिन से शुगर लेवल को नियंत्रित करना पड़ेगा। अन्यथा मां व बच्चे दोनों पर कुप्रभाव पड़ेगा।
सवाल : मेरी पत्नी की बच्चेदानी में गांठ (रसौली) होने से बार-बार गर्भपात हो रहा। मां बनने का कोई उपाय बताइये।
– आशीष, लालबंगला
जवाब : लेप्रोस्कोपिक मायोमेक्टिमी विधि द्वारा गांठ निकालने के बाद यह समस्या खत्म हो सकती है।
सवाल : पत्नी को दो बार दो माह का गर्भपात हो चुका है। क्या करें।
– सुरेंद्र सिंह, गोविंदनगर व इंदर सिंह, सरसौल
जवाब : बच्चेदानी इंफेक्शन व हार्मोन की जांच दूरबीन विधि से करने के बाद ही सही कारणों का पता चल सकेगा।
सवाल : पत्नी की बच्चेदानी में ट्यूमर है। क्या इलाज के बाद वह मां बन सकती है।
– प्रवीण कुमार, नौबस्ता
जवाब : बच्चेदानी व ओवरी दोनों का ट्यूमर दूरबीन विधि द्वारा आपरेशन से निकाला जा सकता है। इसके बाद वह मां बन सकती है।
सवाल : 48 साल की हूं। माहवारी नाम मात्र हो रही है। हड्डियों में दर्द रहता है।
– कीर्ति पांडे, विष्णुपुरी
जवाब : आप अपनी खून, शुगर, थायराइड की जांच करा लें। जांच रिपोर्ट संग डॉक्टर से सलाह लें।
सवाल : पत्नी की बच्चेदानी का चार साल पहले आपरेशन कराया था। अक्सर इंफेक्शन हो जाता है।
– ओमप्रकाश दुबे, जूही लाल कालोनी
जवाब : इंफेक्शन कभी भी हो सकता है। दोनों शुगर की जांच करायें। स्त्री रोग विशेषज्ञ से सलाह लें।
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इन्होंने भी रखी अपनी समस्या
किदवईनगर की दीपा, सिविल लाइंस की दीप्ती चौहान, चौक के राधा रमण, नानकारी के अभिनव अवस्थी, बांस मंडी की निशा। आईआईटी के रोहित, सिविल लाइंस की कृष्णा चौधरी, दामोदर नगर की नीलम अवस्थी व कैंट की रीमा गुप्ता।